कोरबा में प्रशासनिक लारपवाही से हुई एक और शिक्षक की मौत

अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) पाली के आदेश का पालन करते हुए व्याख्याता परसराम रात्रे लक्षणात्मक मरीजों की पहचान कर उनको सैंपलिंग कराने के लिए डोर टू डोर सर्वे करते हुए संक्रमित हो गए तथा उनकी ईएसआईसी हॉस्पिटल कोरबा में इलाज के दौरान मृत्यु हो गई । अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) पाली की ओर से किसी भी प्रकार से सुरक्षा उपकरण उपलब्ध नहीं कराया गया था। राजस्व अधिकारियों द्वारा शिक्षकों की फ्रंट लाइन में ड्यूटी लगाई जाती है । तथा किसी भी प्रकार से बीमा नहीं किया जाता। संक्रमित हो जाने पर इलाज भी नहीं किया जाता। किसी भी प्रकार से ध्यान नहीं दिया जाता । ये घोर लापरवाही को प्रदर्शित करता है। तथा अधिकारियों के अमानवीय व्यवहार को दर्शाता है। बता दें कि विकासखंड पोड़ी उपरोड़ा में अधिकारियों की लापरवाही के कारण दिव्यांग शिक्षक सधवा कुमार बंजारे की भी असमय मृत्यु हो गई । कर्मचारी अपनी नौकरी बचाने के लिए मजबूरी में अपने जीवन को दांव पर लगा देता है। अनुविभागीय अधिकारी राजस्व पाली द्वारा इलाज में कोई ध्यान नहीं दिया गया यह अत्यंत ही दुखद घटना है ।